सुना-सुना दिन
प्यारा-प्यारा मन
सोंधी-सोंधी खुशबु
सिसकती-सिसकती सी शबनम
गुलाबी-गुलाबी बहार
अजीब-अजीब सा प्यार
चुप-चुप सी शाम
तड़पती-तड़पती रात
खोया-खोया आलम
बहका-बहका मोसम
dhundati हुई आँखें
झुकती हुई पलकें
क्या यही प्यार है
यही जीवन है ..
निवेदिता शुक्ला
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment